Artificial Intelligence Kya Hai: Your Complete Guide

Artificial Intelligence Kya Hai: Your Complete Guide

विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार, लगभग 60,000 रोबोट कोविड-19 महामारी के दौरान अस्पतालों में काम कर रहे हैं। यह कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) का एक अद्वितीय उदाहरण है। यह तकनीक मानव क्षमताओं को बढ़ाती है और जटिल समस्याओं का समाधान करती है।

इस गाइड में, हम एआई के इतिहास, महत्व, मूल अवधारणाओं और उपयोगों को विस्तार से समझेंगे।
Artificial Intelligence Kya Hai: Your Complete Guide

प्रमुख बिंदु
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस क्या है और यह कैसे काम करता है
एआई का इतिहास और इसका महत्व
एआई की मूल अवधारणाएं और तकनीकें
एआई के प्रमुख अनुप्रयोग और भविष्य की संभावनाएं
एआई में करियर की संभावनाएं
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस का परिचय

आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) मानव बुद्धि को मशीनों में लाने का काम करती है। यह लगभग 1950 के दशक से शुरू हुआ। तब से, वैज्ञानिकों ने मशीनों को सीखने और निर्णय लेने की क्षमता देने का प्रयास किया।

एआई का इतिहास

एआई की शुरुआत 1950 के दशक में हुई। तब से, मशीन लर्निंग, न्यूरल नेटवर्क्स और डीप लर्निंग जैसी तकनीकें विकसित हुईं। ये तकनीकें एआई को और भी शक्तिशाली बनाती हैं।

एआई का महत्व

एआई का महत्व बढ़ता जा रहा है। यह हमारे जीवन को बेहतर बनाने में मदद करती है। एआई का उपयोग स्वास्थ्य, शिक्षा, व्यवसाय और रोबोटिक्स में होता है।

यह डेटा विश्लेषण और निर्णय लेने में मदद करती है।

एआई की मूल अवधारणाएं
मशीन लर्निंग: यह तकनीक मशीनों को डेटा से सीखने की अनुमति देती है।
न्यूरल नेटवर्क्स: यह मानव मस्तिष्क की तरह काम करती है। यह पैटर्न पहचान सकती है और निर्णय ले सकती है।
डीप लर्निंग: यह न्यूरल नेटवर्क्स का एक उन्नत रूप है। यह बड़े डेटा से जटिल पैटर्न को पहचान सकती है।

इन तकनीकों के साथ, एआई मानव जैसी बुद्धि विकसित कर सकती है। यह कई क्षेत्रों में अद्वितीय क्षमताएं दिखाती है।

Artificial Intelligence Kya Hai: एक विस्तृत समझ

कृत्रिम बुद्धिमत्ता या एआई मशीनों को मानव बुद्धि की तरह सीखने और समस्या हल करने की क्षमता देती है। यह तकनीक तीन मुख्य भागों पर आधारित होती है: डेटा, अल्गोरिदम और कंप्यूटर हार्डवेयर।

एआई प्रणालियों को दो श्रेणियों में बांटा जा सकता है। इंटेलिजेंट मशीन मानव बुद्धिमत्ता के करीब होती हैं, जबकि कुशल मशीन किसी विशिष्ट कार्य के लिए बनाई जाती हैं। पहली श्रेणी में आने वाली मशीनें जैसे स्वाभाविक भाषा प्रसंस्करण पर काम करती हैं। दूसरी श्रेणी में मशीनें विशिष्ट क्षेत्रों में एक्सपर्ट होती हैं।

एआई का उद्देश्य मानव बुद्धिमत्ता को मशीनों में समाहित करना है।
एआई सिस्टम तीन प्रमुख घटकों पर काम करते हैं: डेटा, अल्गोरिदम और कंप्यूटर हार्डवेयर।
एआई प्रणालियों को मुख्य रूप से दो श्रेणियों में वर्गीकृत किया जा सकता है: इंटेलिजेंट मशीन और कुशल मशीन।
इंटेलिजेंट मशीन कुशल मशीन
मानव बुद्धिमत्ता के करीब आती हैं किसी विशिष्ट कार्य को करने के लिए विकसित की गई होती हैं
स्वाभाविक भाषा प्रसंस्करण और कृत्रिम चेतना के विकास पर केंद्रित हैं अक्सर किसी विशिष्ट क्षेत्र में एक्सपर्ट होती हैं
“कृत्रिम बुद्धिमत्ता मानव बुद्धिमत्ता को कंप्यूटर प्रणालियों में लाने का प्रयास करती है, ताकि वे सीख सकें, समझ सकें और समस्याओं को हल कर सकें।”

एआई और मानव बुद्धिमत्ता में कई अंतर हैं। मशीनें केवल उन्हीं काम करती हैं जिनके लिए उन्हें प्रोग्राम किया गया है। मानव बुद्धिमत्ता में अनुमान लगाने, सृजनात्मकता और भावनात्मक इंटेलिजेंस शामिल हैं।

मशीन लर्निंग के मूल सिद्धांत

डेटा विज्ञान और एल्गोरिदम के क्षेत्र में, मशीन लर्निंग बहुत महत्वपूर्ण है। यह कंप्यूटर को सीखने और निर्णय लेने में मदद करता है। इससे उन्नत विश्लेषण जैसे प्रेडिक्टिव मॉडलिंग संभव हो जाते हैं।

सुपरवाइज्ड लर्निंग

सुपरवाइज्ड मशीन लर्निंग में, एल्गोरिदम टिकाऊ प्रशिक्षण डेटा से सीखता है। यह पहले से लेबल किए गए डेटा का उपयोग करता है। इससे एल्गोरिदम नए डेटा पैटर्न पहचान सकता है और सटीक भविष्यवाणियां कर सकता है।

कुछ प्रमुख सुपरवाइज्ड एल्गोरिदम हैं:

लॉजिस्टिक रिग्रेशन
सपोर्ट वेक्टर मशीन
डिसीजन ट्री
अनसुपरवाइज्ड लर्निंग

अनसुपरवाइज्ड मशीन लर्निंग में, एल्गोरिदम को लेबल किए गए डेटा की जरूरत नहीं होती। यह डेटा में पैटर्न और विशेषताएं खोजता है।

इसके बाद, यह स्वयं श्रेणियों या क्लस्टरों में व्यवस्थित करता है। कुछ प्रमुख अनसुपरवाइज्ड एल्गोरिदम हैं:

क-मीन क्लस्टरिंग
प्रिंसिपल कंपोनेंट एनालिसिस
एसोसिएशन रूल लर्निंग

मशीन लर्निंग के इन सिद्धांतों से, डेटा विज्ञान और एल्गोरिदम कई उद्योगों में मदद करते हैं। वे प्रेडिक्टिव मॉडलिंग के लिए शक्तिशाली उपकरण प्रदान करते हैं।

“मशीन लर्निंग हमारे दैनिक जीवन में काफी महत्वपूर्ण भूमिका निभा रहा है, और यह भविष्य में और अधिक महत्वपूर्ण होता जा रहा है।”
डीप लर्निंग और न्यूरल नेटवर्क्स

एआई के विकास में डीप लर्निंग और न्यूरल नेटवर्क्स बहुत महत्वपूर्ण हैं। आर्टिफिशियल न्यूरल नेटवर्क्स मानव मस्तिष्क की तरह काम करते हैं। इसमें कई परतें होती हैं जो डेटा को प्रोसेस करती हैं।

कॉन्वोल्यूशनल न्यूरल नेटवर्क्स चित्र और वीडियो प्रोसेसिंग में मदद करते हैं। ये परतें वस्तुओं के आकार और स्थिति को पहचानती हैं।

रिकरेंट न्यूरल नेटवर्क्स समय के साथ बदलते डेटा को प्रोसेस करते हैं। वे पिछले आउटपुट को अगले इनपुट के साथ जोड़ते हैं।

डीप लर्निंग का महत्व बढ़ता जा रहा है। यह मशीनों को स्वतंत्र रूप से सीखने और निर्णय लेने में मदद करता है। स्वास्थ्य देखभाल, चेहरे की पहचान, और रोबोटिक्स में इसका उपयोग होता है।

इस प्रकार, आर्टिफिशियल न्यूरल नेटवर्क्स, कॉन्वोल्यूशनल न्यूरल नेटवर्क्स और रिकरेंट न्यूरल नेटवर्क्स एआई के महत्वपूर्ण हिस्से हैं। वे डेटा प्रोसेसिंग और निर्णय लेने में मदद करते हैं। डीप लर्निंग ने एआई को नई ऊंचाइयों पर पहुंचाया है।

एआई में नेचुरल लैंग्वेज प्रोसेसिंग

एआई में, नेचुरल लैंग्वेज प्रोसेसिंग (एनएलपी) बहुत महत्वपूर्ण है। यह मशीनों को मानव भाषाओं को समझने और उनका विश्लेषण करने की क्षमता देता है। इसमें भाषा समझ और टेक्स्ट एनालिसिस जैसे दो मुख्य पहलू हैं।

भाषा समझ

भाषा समझ एनएलपी का एक मुख्य पहलू है। यह मशीनों को मानव भाषा की संरचना, व्याकरण और अर्थ को समझने में मदद करता है। इससे वे वाक्यों और अभिव्यक्तियों का अर्थ निकाल सकते हैं और प्रश्नों का जवाब दे सकते हैं।

टेक्स्ट एनालिसिस

टेक्स्ट एनालिसिस एनएलपी का एक और महत्वपूर्ण पहलू है। यह मशीनों को अनरक्षित डेटा से अर्थ और अंतर्दृष्टि निकालने में मदद करता है। टेक्स्ट माइनिंग और सेंटिमेंट एनालिसिस जैसी तकनीकों का उपयोग करता है।

इन तकनीकों से मशीनें टेक्स्ट डेटा का विश्लेषण कर सकती हैं। वे इसके रुझानों और भावनात्मक प्रवृत्तियों को पहचान सकती हैं।

एनएलपी का उपयोग कई क्षेत्रों में होता है। इसमें एआई सहायक, भाषा अनुवाद, सामग्री विश्लेषण और वैयक्तिकृत सुझाव प्रणालियां शामिल हैं। लेकिन, इस तकनीक को अभी भी कई चुनौतियों का सामना करना पड़ता है।

एआई में नेचुरल लैंग्वेज प्रोसेसिंग निरंतर विकास और अनुसंधान का विषय है। यह प्रौद्योगिकी मानव-मशीन संवाद को सुगम बनाने में मदद करती है।

रोबोटिक्स और एआई का संबंध

स्वायत्त रोबोट और मशीन विजन एआई के महत्वपूर्ण हिस्से हैं। स्वायत्त रोबोट वातावरण को समझने के लिए सेंसर फ्यूजन का उपयोग करते हैं। मशीन विजन उन्हें वस्तुओं को पहचानने में मदद करती है।

एआई के साथ रोबोटिक्स का उपयोग उन्हें बुद्धिमान बनाता है। सेंसर उन्हें वातावरण को समझने में मदद करते हैं। इससे वे अपना काम बेहतर ढंग से कर सकते हैं।

भविष्य में, स्वायत्त रोबोट और एआई का मिलान नए उपयोगों को लाएगा। इसमें स्वायत्त वाहन, चिकित्सा रोबोट, और औद्योगिक रोबोट शामिल हैं। ये तकनीकें स्वास्थ्य, खुदरा, परिवहन और उत्पादन में बड़े बदलाव ला सकती हैं।

“रोबोटिक्स और एआई का संयोजन मानव जीवन को बहुत आसान और सरल बना सकता है।”

रोबोट और एआई का मिलान एक चुनौती है। लेकिन यह हमारे जीवन को आसान बना सकता है। रोबोटिक्स और एआई का संबंध हमारी जीवनशैली को बदल सकता है।

एआई के प्रमुख अनुप्रयोग

कृत्रिम बुद्धिमत्ता (एआई) का उपयोग कई क्षेत्रों में किया जा रहा है। यह स्वास्थ्य देखभाल, शिक्षा और व्यवसाय में नए अवसर खोलती है। चलिए, इन क्षेत्रों में एआई के उपयोग को देखें।

स्वास्थ्य सेवा में एआई

एआई स्वास्थ्य क्षेत्र में बहुत उपयोगी है। यह रोगों का निदान और उपचार में मदद करता है। उदाहरण के लिए, एआई-आधारित चिकित्सा इमेजिंग कैंसर का पता लगाने में मदद करती है।

एआई आधारित वर्चुअल असिस्टेंट भी मरीजों की देखभाल में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

शिक्षा में एआई

शिक्षा में एआई व्यक्तिगत अनुकूलन और स्वतंत्र अध्ययन को बढ़ावा देता है। एआई-आधारित सहायक छात्रों को अपने लक्ष्य प्राप्त करने में मदद करते हैं।

एआई शिक्षकों को छात्रों के प्रदर्शन का विश्लेषण करने और सहायता प्रदान करने में मदद करता है।

व्यवसाय में एआई

व्यवसाय में एआई का उपयोग बहुत है। स्मार्ट सिटी प्रौद्योगिकी में एआई शहरी एकीकरण और यातायात प्रबंधन में मदद करती है।

ऑटोनॉमस वाहन में भी एआई का उपयोग होता है। यह तकनीक ग्राउंड ब्रेकिंग है। वर्चुअल असिस्टेंट व्यवसायों में ग्राहक सेवा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।

कृत्रिम बुद्धिमत्ता स्वास्थ्य, शिक्षा और व्यवसाय में महत्वपूर्ण है। यह जीवन को आसान बना रही है। भविष्य में इसका उपयोग और बढ़ेगा।

एआई की चुनौतियां और सीमाएं

एआई की लोकप्रियता बढ़ रही है, लेकिन उसके साथ कुछ बड़े मुद्दे हैं। एआई एथिक्स, डेटा गोपनीयता और बायस इन एआई जैसे मुद्दों को समझना जरूरी है। इन मुद्दों का समाधान करना एक बड़ी चुनौती है।

एआई एथिक्स का मुद्दा है कि एआई सिस्टम्स के निर्णय और कार्रवाई की नैतिकता। एआई में भेदभाव को दूर करना भी एक बड़ा काम है। इसके अलावा, व्यक्तिगत डेटा की गोपनीयता को सुनिश्चित करना भी एक महत्वपूर्ण बात है।

इन चुनौतियों का समाधान करने के लिए, कई प्रयास किए जा रहे हैं। एआई विकासकर्ता, नियामक और नागरिक समाज में काम कर रहे हैं। वे एआई प्रणालियों में पारदर्शिता, जवाबदेही और नैतिकता को सुनिश्चित करने के लिए काम कर रहे हैं।

एआई एथिक्स: एआई सिस्टम्स द्वारा लिए जाने वाले निर्णयों और कार्रवाइयों की नैतिकता और जवाबदेही को सुनिश्चित करना।
डेटा गोपनीयता: एआई द्वारा संकलित और प्रयुक्त व्यक्तिगत डेटा की गोपनीयता को सुरक्षित रखना।
बायस इन एआई: एआई प्रणालियों में कृत्रिम तौर पर निर्मित बायस और भेदभाव को दूर करना।
“एआई में नैतिकता, जवाबदेही और पारदर्शिता को सुनिश्चित करना एक जटिल लेकिन महत्वपूर्ण चुनौती है, जिसका समाधान खोजने के लिए हमें निरंतर प्रयास करने होंगे।”

एआई क्षेत्र में कई महत्वपूर्ण पहलें हो रही हैं। नियामकों, विकासकर्ताओं और नागरिक समाज के प्रयासों से एआई का उपयोग सुरक्षित और नैतिक हो रहा है।

भारत में एआई का विकास और भविष्य

भारत में आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) का विकास तेजी से बढ़ रहा है। सरकार की पहल और स्टार्टअप इकोसिस्टम का नवाचार इसे मजबूत कर रहे हैं।

सरकारी पहल

डिजिटल इंडिया और मेक इन इंडिया जैसी पहलों के तहत, सरकार ने एआई को बढ़ावा देने के लिए काम किया है। स्कूलों और कॉलेजों में एआई के पाठ्यक्रम शुरू किए गए हैं। एआई स्टार्टअप्स को वित्तीय सहायता भी दी जा रही है।

स्टार्टअप इकोसिस्टम

भारतीय स्टार्टअप इकोसिस्टम में एआई इनोवेशन का महत्वपूर्ण योगदान है। कई स्टार्टअप एआई तकनीक का उपयोग कर रहे हैं। वे नए समाधान विकसित कर रहे हैं।

भारत में एआई का क्षेत्र तेजी से विकसित हो रहा है। सरकारी पहल और स्टार्टअप इकोसिस्टम के सहयोग से, यह क्षेत्र आगे भी विकसित होगा। डिजिटल इंडिया, मेक इन इंडिया और एआई इनोवेशन पर ध्यान केंद्रित रहेगा।

एआई में करियर की संभावनाएं

एआई टेक्नोलॉजी का उपयोग हर क्षेत्र में बढ़ रहा है। इससे एआई में करियर के अवसर भी बढ़ रहे हैं। एआई इंजीनियर, डेटा साइंटिस्ट और मशीन लर्निंग स्पेशलिस्ट जैसे पदों की मांग बढ़ रही है।

इन पदों के लिए तकनीकी कौशल के साथ-साथ डेटा विश्लेषण और समस्या समाधान के कौशल भी जरूरी हैं।

एआई इंजीनियर: एआई इंजीनियर एआई प्रणालियों को विकसित करते हैं। उन्हें कंप्यूटर विज्ञान, मशीन लर्निंग और डेटा इंजीनियरिंग में विशेषज्ञता होनी चाहिए।

डेटा साइंटिस्ट: डेटा साइंटिस्ट डेटा का विश्लेषण करते हैं। उन्हें सांख्यिकी, मशीन लर्निंग और निर्णय विज्ञान का ज्ञान होना चाहिए।

मशीन लर्निंग स्पेशलिस्ट: मशीन लर्निंग स्पेशलिस्ट मशीन लर्निंग मॉडल बनाते हैं। उन्हें तकनीकी कौशल और डोमेन विशेषज्ञता की आवश्यकता होती है।

एआई में करियर के लिए डिग्री या प्रमाणपत्र प्राप्त करना महत्वपूर्ण है। कई संस्थान एआई और मशीन लर्निंग पर पाठ्यक्रम प्रदान करते हैं।

पद आवश्यक कौशल सैलरी रेंज (भारत में)
एआई इंजीनियर कंप्यूटर विज्ञान, मशीन लर्निंग, डेटा इंजीनियरिंग ₹5-20 लाख प्रति वर्ष
डेटा साइंटिस्ट सांख्यिकी, मशीन लर्निंग, निर्णय विज्ञान ₹6-30 लाख प्रति वर्ष
मशीन लर्निंग स्पेशलिस्ट मशीन लर्निंग, डोमेन विशेषज्ञता ₹8-25 लाख प्रति वर्ष

एआई में करियर बनाने के लिए निरंतर सीखना और अपडेट रहना जरूरी है। यह क्षेत्र तेजी से विकसित हो रहा है।

“एआई एक ऐसा क्षेत्र है जो आपको अपने कौशल को लगातार बढ़ाने का अवसर देता है। यह न केवल तकनीकी रूप से चुनौतीपूर्ण है, बल्कि नवाचार और समस्या-समाधान के लिए भी एक उत्कृष्ट मंच प्रदान करता है।”
– जीव कुमार, एआई इंजीनियर
निष्कर्ष

हमने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) के बारे में बहुत कुछ सीखा। यह तकनीकी क्रांति और डिजिटल परिवर्तन में बहुत महत्वपूर्ण है। भविष्य में, एआई की क्षमताएं और बढ़ेंगी, जिससे कई क्षेत्र बदल जाएंगे।

एआई के फायदे हैं जैसे कि काम को अधिक कुशलता से करना, उत्पादकता बढ़ाना, और नए विचारों को खोजना। यह खतरनाक कामों को भी सुरक्षित बना सकता है। इसके अलावा, यह बेहतर निर्णय लेने में मदद करता है।

लेकिन, एआई के नुकसान भी हो सकते हैं। जैसे कि गलत पूर्वाग्रह, नैतिक और कानूनी समस्याएं, और रोजगार के नुकसान।

एआई मानवता के लिए एक वरदान है। यह प्रौद्योगिकी क्रांति का केंद्र है। उद्योग, शिक्षा, स्वास्थ्य देखभाल और अन्य क्षेत्रों में यह महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।

एआई के भविष्य के लिए हमें और प्रयास करने की जरूरत है।

FAQ
आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) क्या है?

आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस एक प्रौद्योगिकी है जो मशीनों को बुद्धिमान बनाती है। यह उन्हें सीखने और समस्याओं का समाधान करने में मदद करती है।

एआई का इतिहास क्या है?

एआई का विकास 1950 के दशक से शुरू हुआ। तब से यह कई उतार-चढ़ावों का सामना किया। लेकिन 1990 के दशक से यह तेजी से आगे बढ़ा।

एआई का महत्व क्या है?

एआई का महत्व बहुत बढ़ रहा है। यह स्वास्थ्य, शिक्षा, व्यवसाय और स्मार्ट शहरों में बड़ा बदलाव ला रहा है।

एआई की मूल अवधारणाएं क्या हैं?

एआई की मुख्य अवधारणाएं मशीन लर्निंग, न्यूरल नेटवर्क्स और डीप लर्निंग हैं। ये मशीनों को सीखने और अनुकूलित होने में मदद करते हैं।

एआई कैसे काम करता है?

एआई सिस्टम डेटा का विश्लेषण करते हैं। वे एल्गोरिदम और मॉडल बनाते हैं जो बार-बार सुधरते हैं।

यह मशीनों को सीखने और अनुकूलित होने में मदद करता है।

मशीन लर्निंग क्या है और यह कैसे काम करता है?

मशीन लर्निंग एआई का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह मशीनों को डेटा का विश्लेषण करने में मदद करता है।

इससे वे सीखते हैं और बेहतर निर्णय लेते हैं।

न्यूरल नेटवर्क्स क्या हैं और वे कैसे काम करते हैं?

न्यूरल नेटवर्क्स मानव मस्तिष्क के तरीके से काम करते हैं। वे डेटा का विश्लेषण करते हैं और पैटर्न पहचानते हैं।

विभिन्न प्रकार के न्यूरल नेटवर्क्स होते हैं।

डीप लर्निंग क्या है और यह कैसे काम करता है?

डीप लर्निंग एक उन्नत रूप है जो बहुस्तरीय न्यूरल नेटवर्क्स पर आधारित है। यह जटिल पैटर्न पहचान सकता है।

यह कई क्षेत्रों में उपयोगी है।

एआई में नेचुरल लैंग्वेज प्रोसेसिंग (एनएलपी) क्या है?

एनएलपी एआई का एक महत्वपूर्ण हिस्सा है। यह मशीनों को मानव भाषा को समझने और बोलने में मदद करता है।

यह टेक्स्ट एनालिसिस और अनुवाद में मदद करता है।

एआई और रोबोटिक्स का क्या संबंध है?

एआई और रोबोटिक्स बहुत जुड़े हुए हैं। एआई रोबोटों को स्वायत्तता और सेंसर फ्यूजन देता है।

यह उन्हें वास्तविक दुनिया में काम करने में मदद करता है।

एआई के क्या प्रमुख अनुप्रयोग हैं?

एआई का उपयोग कई क्षेत्रों में होता है। इसमें स्वास्थ्य सेवा, शिक्षा, व्यवसाय और स्मार्ट शहर शामिल हैं।

यह कई क्षेत्रों में मदद करता है।

एआई की क्या चुनौतियां और सीमाएं हैं?

एआई की कुछ चुनौतियां हैं। इसमें एआई एथिक्स, डेटा गोपनीयता और बायस शामिल हैं।

इन चुनौतियों का समाधान करने के लिए विनियमन और सुरक्षा महत्वपूर्ण है।

भारत में एआई का क्या भविष्य है?

भारत में एआई का भविष्य बहुत उज्ज्वल है। सरकार के कार्यक्रमों ने निवेश बढ़ाया है।

भारतीय स्टार्टअप भी एआई में तेजी से आगे बढ़ रहे हैं।

एआई में करियर की क्या संभावनाएं हैं?

एआई में कई रोचक करियर विकल्प हैं। इसमें एआई इंजीनियर, डेटा साइंटिस्ट और मशीन लर्निंग स्पेशलिस्ट शामिल हैं।

इन पदों के लिए विशेष ज्ञान की आवश्यकता है।

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